बनभूलपुरा- ये मानवता नहीं, कई दशक से लोग रह रहे हैं अब सरकार आशियाने तोड़ रही है, वो कौन अधिकारी थे….? HC ने DM-SSP से बताने को कहा
नैनीताल। उत्तराखंड हाईकोर्ट ने हल्द्वानी के बनभूलपुरा में सरकारी भूमि पर निर्मित मस्जिद व स्कूल हटाने के दौरान हुई घटना में दो लोगों की मौत व घायल लोगों को मुआवजा दिलाए जाने के मामले पर जिला विधिक सेवा प्राधिकरण की रिपोर्ट के आधार पर स्वतः संज्ञान लेकर जनहित के रूप में सुनवाई की। मामले की सुनवाई करने के बाद मुख्य न्यायधीश रितु बाहरी व न्यायमूर्ति राकेश थपलियाल की खंडपीठ ने जिलाधिकारी नैनीताल से जवाब पेश करने को कहा है। कोर्ट ने यह भी बताने को कहा है कि वे कौन अधिकारी थे जिनके कार्यकाल में सरकारी भूमि पर अतिक्रमण करने के बाद भी उन्हें बिजली तथा पानी व राशन कार्ड जारी किए गए उनके खिलाफ क्या एक्शन लिया?, अब कई दशक उन्हें वहां रहते हुए हो गए हैं अब सरकार उनके आशियाने तोड़ रही है, ये मानवता नहीं। मामले के अनुसार उच्च न्यायालय ने जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के 19 फरवरी 2024 के पत्र का स्वतः संज्ञान लिया। इस मामले में जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के पास घटना के दौरान मृत व घायल लोगो को मुआवजा देने का प्रार्थना पत्र दिया गया था। जिसमें कहा गया था कि घटना के समय दो लोगों की मौके पर ही मौत हो गयी थी जबकि दो लोगों को गम्भीर हालात में अस्पताल में भर्ती कराया गया। घटना के बाद मृतक दो लोगों के परिवारों पर रोजी रोटी का संकट खड़ा हो गया है। लिहाजा उनके परिजनों को सरकार की 2020 नियमावली के तहत मुआवजा दिलाया जाय। गंभीर रूप से घायल लोगों को भी मुआवजा दिलाया जाए जिसपर कोर्ट ने जिलाधकारी व एससीपी नैनीताल को निर्देश दिए हैं कि इस पर अपना जवाब पेश करें।