गोविंद कोठारी कैसे बना हीरो न0 1 “गोविंदा” पढ़िये दिलचस्प लेख “लव86”

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आज़ाद क़लम:-‘इल्जाम’। जी हां, गोविंदा को बॉक्स ऑफिस स्टार बना देने वाली फिल्म ‘इल्जाम’ मिथुन चक्रवर्ती को लेकर शुरू हुई फिल्म है, जिसे मिथुन ने शूटिंग शुरू होने के बाद छोड़ दिया था। जैसे अगर देव आनंद और राज कुमार ‘जंजीर’ न छोड़ते तो शायद हिंदी सिनेमा को इसका एंग्री यंगमैन न मिलता, वैसे ही डिस्को डांसर मिथुन अगर ‘इल्जाम’ न छोड़ते तो शायद हिंदी सिनेमा को इसका पहला स्ट्रीट डांसर न मिलता
मिथुन के जाते ही आए गोविंदा
पहलाज निहलानी बताते हैं, “मिथुन चक्रवर्ती को लेकर जब ये फिल्म हमने शुरू की तो ये एक क्राइम एक्शन फिल्म थी। शत्रुघ्न सिन्हा का सितारा बुलंदियों पर था और वह तब भी शूटिंग पर काफी देर से पहुंचते थे। मिथुन का नाम बाजार में नया था और उनके पास फिल्मों की लाइन लगी हुई थी। एक एक दिन में वह कई फिल्मों की शूटिंग करते और मेरी फिल्म के सेट पर शत्रुघ्न सिन्हा का इंतजार करने के चक्कर में उनका नुकसान हो रहा था। मिथुन ने तब कहा था कि मैं आपकी सोलो फिल्म के लिए हमेशा तैयार मिलूंगा।” मिथुन ने फिल्म छोड़ी तो माधुरी दीक्षित का काम संभालने वाले रिक्कू राकेश नाथ घंटे भर बाद एक औसत कद काठी के कम हाइट वाले लड़के को पहलाज निहलानी से मिलाने ले आए। पहली नजर में ही निहलानी ने उसे रिजेक्ट भी कर दिया। लेकिन, ये लड़का जानता था कि पहलाज निहलानी से मिल पाना कितना मुश्किल है और मिलने का मौका पाकर भी अगर वह काम न पा सका तो ये उसके करियर के लिए और भी मुश्किलें ला सकता है। निहलानी बताते हैं, “गोविंदा ने मुझे एक वीडियो दिया। मैंने इस वीडियो में गोविंदा का नाचना देखा तो मैंने सोच लिया कि मुझे मेरा हीरो मिल गया है।” पहलाज निहलानी ने गोविंदा को फिल्म में स्ट्रीट डांसर के तौर पर पेश किया और फिल्म की कहानी को क्राइम एक्शन फिल्म से डांस एक्शन फिल्म में बदल

फिल्म ‘इल्जाम’ के लेखक हैं राम केलकर। मनोज कुमार की फिल्मों ‘बेईमान’ और ‘संन्यासी’ से तब चर्चा में आए राम केलकर ने सुभाष घई के लिए ‘हीरो’ से लेकर ‘खलनायक’ तक तमाम फिल्में लिखी हैं। मिथुन की फिल्म ‘कसम पैदा करने वाले की’ के बाद वह उनके लिए ‘इल्जाम’ लिख रहे थे। ‘इल्जाम’ के संगीतकार बप्पी लाहिड़ी और सिनेमैटोग्राफर नदीम खान। दोनों ने मिथुन की फिल्म ‘डिस्को डांसर’ को सुपरहिट बनाने में अहम भूमिका निभाई थी। लेकिन मिथुन के जाने और नए चेहरे गोविंदा के आने से फिल्म की यूनिट का जोश कम नहीं हुआ। गोविंदा की साल 1986 में कई फिल्में रिलीज हुईं। वैलेंटाइंस डे पर आई ‘लव 86’ ने फिल्म ‘इल्जाम’ के लिए ऐसा मंच बनाया कि ये फिल्म रिलीज होते ही लोग टिकट खिड़की पर टूट पड़े। किसी नए कलाकार के आगमन पर देश की जनता किस तरह की प्रतिक्रिया दे रही है, इसे मापने का सबसे सटीक पैमाना सिंगल स्क्रीन के दर्शक होते हैं। मैंने ये फिल्म बांद्रा रेलवे स्टेशन के पास स्थित नंदी सिनेमाघर में देखी थी। दर्शकों ने फिल्म के गाने ‘आई एम ए स्ट्रीट डांसर’ के दौरान जो कुर्सियों पर चढ़कर बवाल काटा, उसने तय कर दिया कि मिथुन जाने अनजाने हिंदी सिनेमा को एक नया स्टार दे चुके हैं।
गोविंदा ने साइन कीं 35 फिल्में
गोविंदा की ये फिल्म 28 फरवरी 1986 को रिलीज हुई। साल 1986 में उनकी एक और फिल्म ‘तन बदन’ भी रिलीज हुई। ये तीनों फिल्में गोविंदा ने एक साथ शूट की थीं। और, फिल्म ‘इल्जाम’ की रिलीज के बाद तो अगले तीन चार साल तक गोविंदा ने कितनी फिल्में एक साथ शूट की खुद उन्हें ही नहीं पता। फिल्म एडीटर से निर्देशक बने नरेश मल्होत्रा के सहायक मनोज सती गोविंदा का एक दिलचस्प किस्सा सुनाते हैं। वह बताते हैं, ‘एक बार हम लोग जुहू बीच पर सुबह की शिफ्ट में शूटिंग करने पहुंचे। लाइट्स वगैरह उतरने लगीं। कैमरा भी आ गया। धीरे धीरे करके बाकी सपोर्ट स्टाफ भी आने लगा। इतने में मैंने देखा कि थोड़ी दूर पर ही एक और फिल्म की शूटिंग का सामान सेट हो रहा है। मैं ऐंवई टहलते टहलते वहां तक गया और पूछा कि भाई कौन सी फिल्म की शूटिंग चल रही है। हीरो कौन है? छूटते ही जवाब मिला, ‘गोविंदा’।’ एक ही समय पर एक ही लोकेशन पर दो फिल्मों के लिए समय देने का काम गोविंदा ही कर सकते थे। फिल्म ‘इल्जाम’ की कामयाबी के बाद गोविंदा ने भी एक साथ 35 फिल्में साइन की थीं। लोगों ने काफी समझाया भी लेकिन बचपन में काफी गरीबी देख चुके गोविंदा का उस समय एक ही मकसद था ज्यादा से ज्यादा पैसे कमाना। इस मामले में उन्होंने सौ फीसदी अपने पूर्वज मिथुन की लाइन ही फॉलो की।
फिल्म ‘इल्जाम’ से गोविंदा और फिल्म के निर्माता पहलाज निहलानी का जो रिश्ता बना वह अब तक कायम है।
फिल्म ‘इल्जाम’ की कामयाबी में इसके संगीत ने भी बड़ा रोल निभाया। संगीतकार बप्पी लाहिड़ी ने इस फिल्म में नाजिया हसन और उनके भाई जोहेब हसन से भी गाना गवाया है। फिरोज खान की फिल्म ‘कुर्बानी’ के बाद अपने अलबम ‘डिस्को दीवाने’ से दुनिया भर में मशहूर हुए दोनों बहन भाई मुंबई आए थे फिल्म ‘इल्जाम’ का गाना रिकॉर्ड करने। दोनों ये देखकर चौंके कि यहां पूरा गाना गायक को पूरे ऑर्केस्ट्रा के साथ लाइव गाकर रिकॉर्ड करना होता है। तब तक बंबई (अब मुंबई) में मल्टीट्रैक म्यूजिक रिकॉर्डिंग और एडीटिंग शुरू नहीं हुई थी। नाजिया और जोहेब ने फिल्म में ‘मैं आया तेरे लिए’ गाना गाया है। वैसे लोग ये भी कहते हैं कि फिल्म ‘इल्जाम’ के नाजिया और जोहेब के गाए गाने की धुन बप्पी लाहिड़ी ने एक पाकिस्तानी फिल्म के गाने से उठाई है। बताते हैं कि ये गाना रिकॉर्ड करने के दौरान ही नाजिया को फिल्म ‘मैं बलवान’ में किशोर कुमार के साथ गाना गाने के लिए साइन कर लिया गया था। किशोर कुमार बाद में जब नाजिया से मिले तो ये देखकर हैरान रह गए कि इस बच्ची ने इतनी छोटी उम्र में दुनिया भर में इतनी शोहरत कमा ली है। नाजिया तब सिर्फ

फिल्म ‘इल्जाम’ में हमने सबकी बातें कर लीं लेकिन फिल्म में गोविंदा की हीरोइन नीलम के बारे में चर्चा रह ही गई। फिल्म से मिथुन के जाने के बाद मीनाक्षी शेषाद्रि ने भी ये फिल्म छोड़ दी थी। वह गोविंदा के साथ फिल्म नहीं करना चाहती थीं क्योंकि वह एक न्यूकमर है। नीलम तब तक फिल्मों में श्रीगणेश कर चुकी थीं। उनका पूरा नाम नीलम कोठारी है। हॉन्गकॉन्ग में अपनी पढ़ाई पूरी करने वाली नीलम को पहला ब्रेक निर्देशक रमेश बहल ने फिल्म ‘जवानी’ में दिया था जिसमें टीना मुनीम के भतीजे करण शाह हीरो थे। नीलम और गोविंदा की दोस्ती ‘लव 86’ की शूटिंग के दौरान हुई। इससे पहले पहलाज निहलानी फिल्म में गोविंदा के साथ हीरोइन के लिए माधुरी दीक्षित से बात कर रहे थे। माधुरी की फिल्म ‘अबोध’ पहलाज निहलानी ने देख ली थी और वह चाहते थे कि वहीं फिल्म ‘इल्जाम’ में गोविंदा की हीरोइन बनें। पर माधुरी तब बड़े स्टार्स के साथ फिल्में करना चाहती थीं। इसके बाद गोविंदा के कहने पर पहलाज ने नीलम से मुलाकात की और फिल्म ‘इल्जाम’ की

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