गजब है साहब!….बाप सांसद, बेटा IAS अधिकारी की बेटी के उत्पीड़न का आरोपी, सरकार ने असिस्टेंट एडवोकेट जनरल बना दिया

भारतीय जनता पार्टी (BJP) के राज्यसभा सांसद सुभाष बराला के बेटे विकास बराला को हरियाणा सरकार ने अपना सरकारी वकील नियुक्त किया है. 2017 के एक मामले में विकास बराला गंभीर आरोपों का सामना कर रहे हैं. उनको एक IAS अधिकारी की बेटी का यौन उत्पीड़न करने, उसका पीछा करने और उसे किडनैप करने का प्रयास करने के लिए आरोपी बनाया गया है.
मामले की सुनवाई अब भी चंडीगढ़ की एक अदालत में चल रही है और विकास फिलहाल जमानत पर हैं. 18 जुलाई को जारी एक सरकारी नोटिफिकेशन के मुताबिक, अब वो हरियाणा सरकार के असिस्टेंट एडवोकेट जनरल (AAG) बना दिए गए हैं. यानी कि अब वो कानूनी मामलों में सरकार का पक्ष रखेंगे और राज्य सरकार को कानूनी सलाह भी देंगे.
इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक, नोटिफिकेशन में 97 नई नियुक्तियों का जिक्र है. इसमें AAG के साथ-साथ डेप्यूटी एडवोकेट जनरल, सीनियर डेप्यूटी एडवोकेट जनरल और एडिशनल एडवोकेट जनरल के पद पर विकास बराला का नाम है.
विकास बराला पर क्या आरोप हैं?
5 अगस्त 2017 को भारतीय दंड संहिता (IPC) की धाराओं के तहत विकास और उनके एक दोस्त आशीष कुमार के खिलाफ मामला दर्ज हुआ. उन पर धारा 354D (पीछा करना), धारा 341 (गलत तरीके से रोकना), धारा 365 (अपहरण का प्रयास) और धारा 511 के अलावा नशे में गाड़ी चलाने के आरोप लगे. पीड़िता ने आरोप लगाए कि दोनों ने चंडीगढ़ में देर रात उनकी गाड़ी का पीछा किया और जबरन उनकी गाड़ी में घुसने की कोशिश की.
सुभाष बराला उस समय हरियाणा भाजपा के अध्यक्ष थे. हरियाणा में तब उनकी पार्टी की सरकार थी. पीड़िता की शिकायत के आधार पर FIR दर्ज की गई. 9 अगस्त 2017 को विकास और आशीष को गिरफ्तार कर लिया गया. उसी साल अक्टूबर में आरोपियों के खिलाफ आरोप तय किए गए.
घटना के समय विकास कानून का छात्र था. दिसंबर 2017 में हाई कोर्ट ने उसे कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय की परीक्षा में बैठने की अनुमति दी थी.
इस बीच, विकास को जनवरी 2018 में पंजाब और हरियाणा हाई कोर्ट से जमानत मिल गई. तब तक उनको चंडीगढ़ के बुड़ैल स्थित मॉडल जेल में रखा गया था. मुकदमे की अगली सुनवाई की तारीख 2 अगस्त 2025 को होनी है.


