उत्तराखण्ड-मानव तस्करी-उधमसिंहनगर की लड़की को पांच लाख में बेचा, मां के इलाज के लिए दिव्यांग के साथ रहने को मजबूर हुई नाबालिग
उधमसिंह नगर के काशीपुर की कुंडा थाना पुलिस ने विवाह के नाम पर एक किशोरी को खरीदने के मामले में एक आरोपित को गिरफ्तार किया है। पूछताछ में किशोरी को पांच लाख रुपये में राजस्थान के एक दिव्यांग व्यक्ति को बेचे जाने की बात सामने आई है। मामले में दो महिलाओं समेत चार लोग फरार हैं। थाना कांठ ग्राम हल्दुआ रामपुर (मुरादाबाद) निवासी एक महिला अपने परिवार के साथ कुंडा थाने के ग्राम इस्लामनगर में रहती है। उसके पति की चार साल पहले मृत्यु हो चुकी है। बीती 16 अक्तूबर को महिला ने कुंडा थाने में अपनी 16 वर्षीय पुत्री की गुमशुदगी दर्ज कराई थी। मामले के खुलासे के लिए कुंडा थानाध्यक्ष दिनेश फर्त्याल के नेतृत्व में पुलिस टीम का गठन किया। छानबीन में पता लगा कि किशोरी की मां ट्यूमर की बीमारी से पीड़ित है। इस्लामनगर में ही रहने वाली हाथरस निवासी महिला सोनिया और उसके मित्र राजू ने उसकी मां का इलाज कराने का झांसा देकर किशोरी को अपने प्रभाव में ले लिया। दोनों लोग किशोरी को बहलाकर राजस्थान ले गए। दोनों ने उसे एक दिव्यांग व्यक्ति मोनू निवासी मेवली थाना कोटकासिम जिला अलवर और उसके परिजनों के हाथों उसे पांच लाख रुपये में बेच दिया। उन्होंने किशोरी को बताया कि मोनू के परिजनों से मिलने वाली रकम काशीपुर जाकर उसकी मां को सौंप देंगे ताकि वह अपना इलाज करा सके।
एसपी अभय सिंह ने बताया कि किशोरी को बेचने के बदले में आरोपियों ने तीन लाख रुपये नकद लिए थे और दो लाख रुपये बाद में देने की बात तय हुई थी। कुछ दिन बाद किशोरी ने अपनी मां को फोन कर सारी बात बताई। सर्विलांस की मदद से पुलिस ने पीड़िता को अलवर (राजस्थान) से बरामद कर लिया। दिव्यांग पुत्र के साथ शादी कराने वाले पिता मनोज कुमार को भी गिरफ्तार कर लिया।
एसपी ने बताया कि मामले में मानव तस्करी गिरोह के अन्य सदस्य ग्राम केवलगढ़ी (हाथरस) निवासी सोनिया व उसके सहयोगी राजू, ग्राम मेवली कोटकासिम (राजस्थान) निवासी दिव्यांग मोनू, उसकी मां सुनील देवी आदि फरार हैं।