दीपावली विशेष: इन बातों का रखें ध्यान वरना देवी लक्ष्मी की बड़ी बहन कर देगी आपको कंगाल
आज़ाद क़लम:- कैसा है देवी अलक्ष्मी का रूप?
ग्रंथों के अनुसार, समुद्र मंथन के दौरान कालकूट विष के बाद देवी अलक्ष्मी प्रकट हुईं। ये वृद्धा थीं, इनके बाल पीले, आंखें लाल तथा मुख काला था। देवताओं ने इन्हें वरदान दिया कि जिस घर में कलह हो, वहीं तुम रहो। पद्मपुराण के अनुसार, इनका विवाह उद्दालक ऋषि से हुआ था। वहीं लिंगपुराण में इनके पति का नाम दु:सह नामक ब्राह्मण बताया जाता है। सनत्सुजात संहिता के अनुसार, पति द्वारा छोड़ दिए जाने पर ये पीपल वृक्ष के नीचे रहने लगीं। मान्यता के अनुसार, हर शनिवार को देवी लक्ष्मी इनसे मिलने पीपल के वृक्ष पर आती हैं।
कहां-कहां निवास करती हैं देवी लक्ष्मी?
– पद्म पुराण के अनुसार, देवी अलक्ष्मी हड्डी, कोयला तथा बिखरे हुए केश (बाल) में निवास करती हैं। यानी ऐसे घरों में जहां मांस पकाया जाता है। स्त्रियां अपने बाल खुले रखती हैं और जमीन के नीचे कोयला होता है।
– कठोर और झूठ बोलने वाले लोगों के घर में भी देवी अलक्ष्मी का निवास होता है। इसलिए हमेशा सच और मीठा बोलने के लिए कहा जाता है।
-अभक्ष्य-भक्षियों यानी न खाने योग्य चीजों को खाने वाले लोगों के घर में भी इनका निवास होता है। मांसाहार भी इसमें शामिल है।
जहां गंदगी रहती है, प्रतिदिन लड़ाई-झगड़ा होता है। जहां के लोग गंदे कपड़े पहनते हैं और अधर्म या गलत काम करते हैं, वहां भी देवी अलक्ष्मी रहती हैं।
– जैसे देवी लक्ष्मी को साफ-सफाई पसंद है, वैसे ही देवी अलक्ष्मी को गंदगी पसंद है। जिन घरों में प्रतिदिन साफ-सफाई नहीं होती, वहां देवी अलक्ष्मी निवास करती हैं।